PACL के निवेशकों के लिए एक राहत की खबर आई है। SEBI ने जानकारी दी है की PACL के 8 लाख से अधिक निवेशकों को अभी तक 205 करोड़ रुपये लौटाए जा चुके हैं। बाजार नियामक भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (SEBI) ने जानकारी दी है कि PACL लिमिटेड की धोखाधड़ी के शिकार 8 लाख से अधिक निवेशकों को अभी तक 205 करोड़ रुपये लॉटाए जा चुके हैं। शेयर बाजार के रेग्युलेटर SEBI का कहना है कि 7,000 रुपये तक का दावा करने वाले छोटे निवेशकों को यह धन लौटाया गया है। SEBI की जांच के मुताबिक पीएसीएल ने अवैध तरीके से एग्रीकल्चर और रिएल एस्टेट बिजनेस के नाम पर लोगों से रकम जुटाई थी। PACL ने कृषि और रियल एस्टेट कारोबार के नाम पर जनता से अवैध तरीके से 18 वर्षों के दौरान 60,000 करोड़ रुपये से अधिक पैसे जुटाए थे। SEBI के मुताबिक अब तक की स्थिति के अनुसार कंपनी में 7,000 रुपये तक के निवेश का दावा करने वाले 8,31,018 निवेशकों को 204.85 करोड़ रुपये का भुगतान किया जा चुका है।
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SEBI ने PACL की संपत्तियां अटैच की थीं। निवेशकों की रकम नहीं लौटा पाने की वजह से दिसंबर 2015 में SEBI ने PACL और इसके 9 प्रमोटर-डायरेक्टर की संपत्तियां अटैच करने का आदेश दिया था। इससे पहले SEBI ने अगस्त 2014 में PACL और इसके प्रमोटरों को तीन महीने में निवेशकों की रकम लौटाने का आदेश दिया था। रिटायर्ड जस्टिस आरएम लोढा की अध्यक्षता वाली एक कमेटी ने PACL में निवेश करने वालों के लिए दो चरणों में रिफंड की प्रक्रिया शुरु की थी। जिसमे की 5 हजार तक के क्लेम पहले ही रिफंड किए जा चुके है। PACL के निवेशकों को दो जनवरी 2018 से 31 मार्च 2018 और 8 फरवरी 2019 से 31 जुलाई 2019 के बीच रिफंड किए गए। पहले चरण में 1 लाख 89 हजार 103 निवेशकों के 2,500 रुपए तक के दावों का भुगतान किया गया था। पिछले साल दिसंबर में 2 लाख 77 हजार 544 निवेशकों के 5 हजार रुपए तक के क्लेम थे। अबतक PACL के 12,97,665 लाख निवेशकों का पैसा वापस किया जा चुका है। हालांकि कुछ आवेदनों में त्रुटियां होने की वजह से उनका पैसा वापस नहीं किया जा सका है।
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